शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali PDF in Sanskrit

शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali Sanskrit PDF Download

शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali in Sanskrit PDF download link is given at the bottom of this article. You can direct download PDF of शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali in Sanskrit for free using the download button.

शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali Sanskrit PDF Summary

नमस्कार मित्रों, इस पोस्ट के माध्यम से हम आपको शनि अष्टोत्तर शतनामावली PDF | Shani Ashtottara Shatanamavali PDF के लिए डाउनलोड लिंक दे रहे हैं। श्री शनि अष्टोत्तर शतनामावली शनि देव के १०८ पवित्र नामों का संकलन है, जिनका प्रतिदिन जाप करने से शनिदेव की विशेष कृपा प्राप्त होती है। शनि देव को न्याय का देवता माना जाता है, वह प्रत्येक व्यक्ति को उसके कर्मानुसार कर्मफल प्रदान करते हैं। यदि आपके ऊपर शनि की ढैया या साढ़ेसाती चल रही है अथवा आपकी कुण्डली में शनि नकारात्मक स्थिति में हैं, तो आपको प्रतिदिन श्री शनि अष्टोत्तर शतानामावली का जाप करना चाहिए। श्री शनि अष्टोत्तर शतनामावली के दिव्य मन्त्रों का जाप किसी भी राशि का व्यक्ति कर सकता है किन्तु मकर व कुम्भ राशि के जातकों को इसका अत्यधिक लाभ मिलता है।
प्रत्येक शनिवार को श्री शनि चालीसा का पाठ करना चाहिए। अगर आप शनिवार का व्रत रखते हैं तो शनिवार व्रत पूजा विधि अनुसार ही करना चाहिए। शनि सहस्त्रनामावली तथा शनि वज्र पंजर कवच  के गायन से भी आपको शनिदेव की कृपा मिलती है। साथ ही महाकाल शनि मृत्युंजय स्तोत्र का विधिवत ध्यान करने से अकाल मृत्यु का दोष नही टल जाता है।
शनि अष्टोत्तर शतनामावली PDF | Shani Ashtottara Shatanamavali PDF

।। शनि अष्टोत्तरशतनामावली ।।

ॐ शनैश्चराय नमः ।

ॐ शान्ताय नमः ।

ॐ सर्वाभीष्टप्रदायिने नमः ।

ॐ शरण्याय नमः ।

ॐ वरेण्याय नमः ।

ॐ सर्वेशाय नमः ।

ॐ सौम्याय नमः ।

ॐ सुरवन्द्याय नमः ।

ॐ सुरलोकविहारिणे नमः ।

ॐ सुखासनोपविष्टाय नमः । १०

ॐ सुन्दराय नमः ।

ॐ घनाय नमः ।

ॐ घनरूपाय नमः ।

ॐ घनाभरणधारिणे नमः ।

ॐ घनसारविलेपाय नमः ।

ॐ खद्योताय नमः ।

ॐ मन्दाय नमः ।

ॐ मन्दचेष्टाय नमः ।

ॐ महनीयगुणात्मने नमः ।

ॐ मर्त्यपावनपदाय नमः । २०

ॐ महेशाय नमः ।

ॐ छायापुत्राय नमः ।

ॐ शर्वाय नमः ।

ॐ शततूणीरधारिणे नमः ।

ॐ चरस्थिरस्वभावाय नमः ।

ॐ अचञ्चलाय नमः ।

ॐ नीलवर्णाय नमः ।

ॐ नित्याय नमः ।

ॐ नीलाञ्जननिभाय नमः ।

ॐ नीलाम्बरविभूशणाय नमः । ३०

ॐ निश्चलाय नमः ।

ॐ वेद्याय नमः ।

ॐ विधिरूपाय नमः ।

ॐ विरोधाधारभूमये नमः ।

ॐ भेदास्पदस्वभावाय नमः ।

ॐ वज्रदेहाय नमः ।

ॐ वैराग्यदाय नमः ।

ॐ वीराय नमः ।

ॐ वीतरोगभयाय नमः ।

ॐ विपत्परम्परेशाय नमः । ४०

ॐ विश्ववन्द्याय नमः ।

ॐ गृध्नवाहाय नमः ।

ॐ गूढाय नमः ।

ॐ कूर्माङ्गाय नमः ।

ॐ कुरूपिणे नमः ।

ॐ कुत्सिताय नमः ।

ॐ गुणाढ्याय नमः ।

ॐ गोचराय नमः ।

ॐ अविद्यामूलनाशाय नमः ।

ॐ विद्याविद्यास्वरूपिणे नमः । ५०

ॐ आयुष्यकारणाय नमः ।

ॐ आपदुद्धर्त्रे नमः ।

ॐ विष्णुभक्ताय नमः ।

ॐ वशिने नमः ।

ॐ विविधागमवेदिने नमः ।

ॐ विधिस्तुत्याय नमः ।

ॐ वन्द्याय नमः ।

ॐ विरूपाक्षाय नमः ।

ॐ वरिष्ठाय नमः ।

ॐ गरिष्ठाय नमः । ६०

ॐ वज्राङ्कुशधराय नमः ।

ॐ वरदाभयहस्ताय नमः ।

ॐ वामनाय नमः ।

ॐ ज्येष्ठापत्नीसमेताय नमः ।

ॐ श्रेष्ठाय नमः ।

ॐ मितभाषिणे नमः ।

ॐ कष्टौघनाशकर्त्रे नमः ।

ॐ पुष्टिदाय नमः ।

ॐ स्तुत्याय नमः ।

ॐ स्तोत्रगम्याय नमः । ७०

ॐ भक्तिवश्याय नमः ।

ॐ भानवे नमः ।

ॐ भानुपुत्राय नमः ।

ॐ भव्याय नमः ।

ॐ पावनाय नमः ।

ॐ धनुर्मण्डलसंस्थाय नमः ।

ॐ धनदाय नमः ।

ॐ धनुष्मते नमः ।

ॐ तनुप्रकाशदेहाय नमः ।

ॐ तामसाय नमः । ८०

ॐ अशेषजनवन्द्याय नमः ।

ॐ विशेशफलदायिने नमः ।

ॐ वशीकृतजनेशाय नमः ।

ॐ पशूनां पतये नमः ।

ॐ खेचराय नमः ।

ॐ खगेशाय नमः ।

ॐ घननीलाम्बराय नमः ।

ॐ काठिन्यमानसाय नमः ।

ॐ आर्यगणस्तुत्याय नमः ।

ॐ नीलच्छत्राय नमः । ९०

ॐ नित्याय नमः ।

ॐ निर्गुणाय नमः ।

ॐ गुणात्मने नमः ।

ॐ निरामयाय नमः ।

ॐ निन्द्याय नमः ।

ॐ वन्दनीयाय नमः ।

ॐ धीराय नमः ।

ॐ दिव्यदेहाय नमः ।

ॐ दीनार्तिहरणाय नमः ।

ॐ दैन्यनाशकराय नमः । १००

ॐ आर्यजनगण्याय नमः ।

ॐ क्रूराय नमः ।

ॐ क्रूरचेष्टाय नमः ।

ॐ कामक्रोधकराय नमः ।

ॐ कलत्रपुत्रशत्रुत्वकारणाय नमः ।

ॐ परिपोषितभक्ताय नमः ।

ॐ परभीतिहराय नमः ।

ॐ भक्तसंघमनोऽभीष्टफलदाय नमः ।

॥ इति शनि अष्टोत्तरशतनामावलिः सम्पूर्णम् ॥

शनि अष्टोत्तर शतनामावली के लाभ व महत्व | Shani Ashtottara Shatanamavali Benefits & Significance :

  • शनि अष्टोत्तर शतनामावली नियमित जाप से आजीविका सम्बन्धी समस्याओं का समाधान होता है।
  • शनि देव के इन दिव्य मन्त्रों के पाठ से शनि देव की विशेष कृपा प्राप्त होती है।
  • जिन राशियों पर शनि की ढैया या साढ़ेसाती चल रही है, उन राशियों के व्यक्तियों को शनि देव के इन दिव्य १०८ नामों का जप अवश्य करना चाहिए।
  • यदि आपको कोई पुराना जटिल रोग है और बहुत उपचार करवाने पर भी ठीक नहीं हो रहा, तो शनि अष्टोत्तर का जाप करने से निश्चित ही आपको उस रोग से छुटकारा मिल जायेगा।
  • जिन युवाओं को नौकरी के लिए साक्षात्कार देने में कठीनाई होती है उन्हें भी सूर्यास्त के पश्चात इस शनि शतनामावली का पाठ करना चाहिए।
  • पैरों व घुटनों से सम्बंधित समस्याओं के निदान में शनि अष्टोत्तर के पाठ से विशेष सहायता मिलती है।
  • शनि देव के इन वैदिक मन्त्रों के प्रभाव से समस्त प्रकार की मानसिक समस्याओं से मुक्ति मिलती है।

शनि अष्टोत्तर शतनामावली पाठ विधि | Shani Ashtottara Shatanamavali Path Vidhi :

  • वैसे तो आप प्रतिदिन शनि देव के इन पवित्र नामों का पाठ कर सकते हैं, किन्तु प्रत्येक शनिवार को इनका जप करने से जीवन में समस्त प्रकार के सुखों की प्राप्ति होती है।
  • सर्वप्रथम शनिवार के दिन स्नान करके एक आसन पर पद्मासन में बैठ जाएँ।
  • अब अपने सामने शनि देव का एक प्रतिमा अथवा छायाचित्र स्थापित करें।
  • तत्पश्चात शनि देव का आवाहन करें व उन्हें आसन ग्रहण करवाएं।
  • सरसों के तेल का एक चौमुखी दीपक शनिदेव के समक्ष प्रज्जवलित करें।
  • तदोपरान्त शनि अष्टोत्तर शतनामावली का श्रद्धापूर्वक जप करें।
  • जाप सम्पूर्ण होने पर इच्छानुसार शनि बीज मन्त्र “ॐ प्राँ प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः” का जाप करें।
  • अब सरसों के तेल के दीपक से शनिदेव की आरती करें तथा उनका आशीर्वाद ग्रहण करें।

You may also like:

शनि अष्टक | Shani Ashtakam
शनि देव चालीसा | Shani Dev Chalisa in Hindi
शनि देव शाबर मंत्र | Shani Shabar Mantra in Hindi
शनि प्रदोष व्रत कथा | Shani Pradosh Vrat Katha in Hindi
शनि देव आरती | Shani Dev Aarti in Hindi
दशरथ कृत शनि स्तोत्र | Dashrath Krit Shani Stotra in Sanskrit
महाकाल शनि मृत्युंजय स्तोत्र | Mahakal Shani Mrityunjaya Stotra

You can download Shani Ashtottara Shatanamavali in Sanskrit PDF by clicking on the following download button which is given below.

शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali pdf

शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali PDF Download Link

REPORT THISIf the download link of शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali PDF is not working or you feel any other problem with it, please Leave a Comment / Feedback. If शनि अष्टोत्तर शतनामावली | Shani Ashtottara Shatanamavali is a copyright material Report This. We will not be providing its PDF or any source for downloading at any cost.

RELATED PDF FILES

Leave a Reply

Your email address will not be published.